आज के इस पोस्ट में हम आप सभी लोगों को बताने वाले हैं कि Hindi Patra Lekhan, Patra Lekhan Format Hindi कैसे लिखते हैं या फिर पत्र लेखन कितने प्रकार के होते हैं या हमें पत्र लिखते समय किन बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए।
यदि आप भी सीखना चाहते हैं कि पत्र कैसे लिखते हैं या पत्र के कितने प्रकार हैं तो हमारी आज की इस पोस्ट को अंत तक अवश्य पढ़ें।
Contents
Hindi patra lekhan: पत्र लेखन के बारे में सामान्य जानकारी
प्राचीन काल में पत्र लेखन को कला की संज्ञा दी गई है, आधुनिक युग में एक दूसरे का हाल जानने या कोई खबर पहुंचाने का एकमात्र साधन पत्र ही था। पत्र लेखन दो व्यक्तियों के बीच होता है, पत्र के जरिए कोई व्यक्ति अपने विचार और निश्छल भावों का आदान प्रदान करता है।
एक पत्र में आपको पत्र लिखने वाले व्यक्ति की भावनाएं और उसका व्यक्तित्व उभर कर आता है इसके साथ ही पत्र में आपको पत्र लेखक का चरित्र, संस्कार, आचरण, मानसिक स्थिति और दृष्टिकोण सभी एक साथ देखने को मिलते हैं। पत्र को अंग्रेजी में लेटर के नाम से जाना जाता है।
वर्तमान समय में पत्र की जगह टेलीग्राम, व्हाट्सएप, मोबाइल फोन और फैक्स आदि ने ले लिया है, अतः पत्र का चलन लगभग समाप्त हो गया है। हालांकि आज भी आपको बैंक, व्यवसाय और सरकारी कार्यालयों में पत्र का इस्तेमाल किया जा रहा है।
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Patra lekhan ke prakar | Types of letter in hindi
पत्र लेखन हमारे निजी जीवन के साथ ही व्यापार को बढ़ाने अथवा संस्थानों/कार्यालयों में परस्पर सम्पर्क का साधन पत्र है। हम पत्र हमेशा अलग-अलग लोगों को लिखते हैं और उसी के आधार पर पत्र को दो भागों में विभाजित किया गया है।
- अनौपचारिक पत्र
- औपचारिक पत्र
अनौपचारिक पत्र क्या होता है?
अनौपचारिक पत्र को हम किसी सरकारी दफ्तर, अर्धसरकारी, व्यवसाय से जुड़े लोगों को लिखते हैं। इस पत्र की भाषा शैली अनौपचारिक होती है और पत्र का स्वरूप भी निश्चित साक्षी में ढला होता है। अनौपचारिक पत्र के अंतर्गत किसी सरकारी विभाग या किसी संस्थान को निमंत्रण पत्र, सुझाव पत्र या शिकायत पत्र आदि लिखा जाता है।
औपचारिक पत्र क्या होता है?
औपचारिक पत्र हम उन लोगों को लिखते हैं जिनसे हमारा घनिष्ठ संबंध होता है, ऐसे पत्र परिवार वालों मित्रों और रिश्तेदारों को ही लिखा जाता है। इस पत्र को हम व्यक्तिगत पत्र के नाम से भी जानते हैं और पत्र का विषय भी लीजिए तथा घरेलू होता है। ऐसे पत्रों की भाषा बहुत ही सरल और सामान्य होती है।
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Patra ke angg | Patra Lekhan in Hindi
अगर बात करें पत्र के अंग की तो पत्र के बहुत से अंग है चाहे वह औपचारिक पत्र हो या फिर अनौपचारिक पत्र।
पता और दिनांक:-
पत्र की शुरुआत में बाई ओर पत्र लिखने वाले का पता और उसके नीचे दिनांक लिखते हैं। इसके साथ ही औपचारिक पत्र में दिनांक के नीचे जिस व्यक्ति को हम पत्र लिख रहे होते हैं उसका पता भी डालना होता है।
अभिवादन और संबोधन शब्दावली:-
किसी भी पत्र में अपनी बात रखने से पहले हमें सामने वाले व्यक्ति को पत्र में किसी न किसी शब्द से संबोधित करना होता है। यदि हम अनौपचारिक पत्र लिख रहे हैं तो सामने वाले व्यक्ति को संबोधन के लिए मान्यवर, महोदय आदि जैसे शब्दों का इस्तेमाल करते हैं और यदि हम औपचारिक पत्र लिख रहे हैं,
तो सामने वाले व्यक्ति को संबोधन के लिए नमस्कार पूजा आदि जैसे शब्दों का इस्तेमाल करते हैं इसके साथ ही अगर हम औपचारिक पत्र अपने छोटे भाई बहन या मित्र को लिख रहे हैं तो संबो धन के लिए प्रिय, स्नेह आदि शब्दों का प्रयोग करते हैं।
विषय सामग्री:-
विषय सामग्री के अंतर्गत हम पत्र में अपने भाव और विचार को व्यक्त करते हैं और पत्र लिखने की भाषा बिल्कुल सरल एवं सामान्य होनी चाहिए।
पत्र समाप्ति और हस्ताक्षर:-
पत्र की समाप्ति हम सामने वाले व्यक्ति के पद के आधार पर करते हैं यदि सामने वाला व्यक्ति हमसे बड़ा है तो हम आपका आघ्याकारी, आपका विशवसनीय आदि शब्दों का इस्तेमाल करते हैं और यदि सामने वाला व्यक्ति हमसे छोटा है तो हम तुम्हारा प्रिय जैसे शब्दों का इस्तेमाल करते हैं।
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Patra likhte Samay Dhyan Dene Wali Baat
किसी भी पत्र को लिखते समय हमें कुछ जरूरी बातों का ध्यान देना चाहिए जो कि निम्न प्रकार से है।
- पत्र लिखते समय हमें अपनी बातों को संक्षेप तथा प्रभावपूर्ण तरीके से रखनी चाहिए और पत्र में हमें अनावश्यक बातों को विस्तार से नहीं लिखना चाहिए।
- किसी भी पत्र को लिखते समय कम से कम शब्द में अधिक बातों को लिखने का हुनर होना चाहिए।
- पत्र लिखने की भाषा मधुर, सरल और सामान्य होनी चाहिए।
- पत्र लिखने की शुरुआत में ही पत्र लेखन और पत्र-प्राप्तकर्ता का नाम पता व दिनांक एक साथ लिखा होना चाहिए।
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Hindi Patra Lekhan Format Udaharan
आज के अपने इस पोस्ट में हम आपको दोनों ही प्रकार के पत्र लेखन का कुछ उदाहरण बताने जा रहे हैं जिससे आपको किसी को भी पत्र लिखने में आसानी होगी।
प्रार्थना पत्र कैसे लिखे:
सेवा में,
श्रीमान् प्रधानाचार्य महोदय
पब्लिक स्कूल,
पंजाब।
दिनांक- 22 मई, 2018
विषय- बिमारी के कारण दो दिन के अवकाश हेतु
मान्यवर,
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धन्यवाद ।
आपका आग्याकारी शिष्य
नाम
कक्षा
सरकारी पत्र कैसे लिखे:
सेवा में,
श्रीमान् मुख्य सचीव,
नगरपालिका,
असंध।
दिनांक– 26 अप्रैल 2021
विषय– शहर में साफ सफाई करवाने हेतु
मान्यवर
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धन्यवाद।
नाम
करोल बाग,
असंध।
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निजी पत्र कैसे लिखे:
हाउस नंबर– 110
सैक्टर 26 ए,
नई दिल्ली।
28 मार्च 2019
प्रिय मित्र,
———————————————–संदेश————————————————–
तुम्हारा मित्र
नाम ।
व्यवसायिक पत्र कैसे लिखे:
सेवा में,
मैनेजिंग महोदय,
गोयल फैसन हाउस,
नई दिल्ली।
दिनांक- 16 मार्च 2018
विषय– समान मंगवाने हेतु
महोदय,
———————————————–संदेश————————————————–
धन्यवाद।
नाम
राषट्रपति भवन,
110067
नई दिल्ली।
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Conclusion: निष्कर्ष
आज के इस लेख में हमने आपको Hindi Patra Lekhan, Patra Lekhan Format Hindi की विस्तार पूर्वक जानकारी दी है, हमें उम्मीद है आपको हमारा यह hindi patra lekhan पोस्ट पसंद आया होगा।
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लेखिका: माही जयसवाल